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"उज्जवला योजना" लाभार्थी सम्मेलन में हुआ भाजपा कार्यकर्ताओं का सम्मान

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मेट्रो मत न्यूज़ ( चेतन शर्मा दिल्ली) पूर्वी दिल्ली के कल्याणपुरी जलेबी चौक स्थित प्रधान मंत्री उज्जवला योजना जिला मयूर विहार के चेयरमैन एवं पूर्व उपमहापौर राजकुमार ढिल्लो द्वारा कार्यकर्ता सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। इस आयोजन में भारतीय जनता पार्टी के बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं से लेकर प्रदेश स्तर के कार्यकर्ता एवं पदाधिकारी गण उपस्थिति रहे। उपस्थिति कार्यकर्ता एवं पदाधिकारी गण को माला एवं पटका पहनाकर स्वागत किया गया । कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य कार्यकर्ताओं को सम्मानित कर उनका हौसला बढ़ाना तथा वरिष्ठ कार्यकर्ताओं एवं पदाधिकारियों से उनका परिचय करवाना था। इस कार्यक्रम मे मुख्य अतिथि व मुख्य वक्ता दिल्ली प्रदेश के महामंत्री व एनडीएमसी के सदस्य कुलजीत सिंह चहल रहे । कुलजीत सिंह चहल ने उपस्थिति  कार्यकर्ताओं को संबोधित करते  हुए कांग्रेस शासन तथा भाजपा के कार्य काल का हवाला देते हुए कांग्रेस शासन काल में हुए अनेकों घोटालों का जिक्र करते हुए कहा कि जब केंद्र में  कांग्रेस की  सरकार थी तो इतने घोटाले होते थे उन घोटालों का नाम लेने में भी काफी समय लगता है घोटालों को जोड़ने में केलकुलेटर

पर्यावरण बचाने के लिए हम सब को आगे आना होगा या जन भागिदारी के बिना पर्यावरण संरक्षण असंभव है :- लाल बिहारी लाल

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मैट्रो मत न्यूज ( नई दिल्ली)  जब इस श्रृष्टि का  निर्माण हुआ तो इसे संचालित करने के लिए जीवों एवं निर्जीवों का एक सामंजस्य  स्थापित करने के लिए जीवों एवं निर्जीवों के बीच एक परस्पर संबंध का रुप प्रकृति ने दिया जो कलान्तर मे पर्यावरण कहलाया।  जीवों के दैनिक जीवन को संचालित करने के लिए उष्मा रुपी उर्जा की जरुरत पड़ती है। और यह उर्जा प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्षरुप से धरती के गर्भ में छिपे खनिज लवण,जल ,वायु एवं फसलों के उत्पादन से अन्न एवं फल-फूल से प्राप्त होती हैं। लेकिन धीरे-धारे आबादी बढ़ी तो इनकी मांग भी बढ़ने लगी। लेकिन आबादी तो गुणात्मक रुप से बढ़ी पर संसाधन प्राकृतिक रुप से ही बढ़े । इस बढ़ती हुई आबादी की मांग को पूरा करने के लिए प्राकृतिक संसाधनो पर दबाब तेजी से बढ़ा फलस्वरुप प्राकृतिक संसाधनों का दोहन तेजी से हुआ। जिससे पर्यावरण की नींव हिल गई । और इस प्रकृति द्वारा दिए सीमित संसाधनों के भण्डार के दोहन से मानव जीवन पर गहरा प्रभाव पड़ने लगा है । 1844 में औद्योगिक क्रांति के बाद पर्यावरण पर दवाव काफी बढ़ा जिससे बढ़ती हुई आबादी को बसाने ,यातायात के  लिए परिवहन हेतु सड़कों का निर्माण से